/ Jan 30, 2025
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KHUSHIYON KI SAWARI: उत्तराखंड सरकार ने गर्भवती महिलाओं के लिए स्वास्थ्य सेवाओं को और सुलभ बनाने के लिए एक नई पहल शुरू की है। अब गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व जांच के लिए सरकारी अस्पतालों तक जाने की कोई चिंता नहीं होगी, क्योंकि राज्य सरकार ने “खुशियों की सवारी” वाहन सेवा को नि:शुल्क कर दिया है। यह सेवा विशेष रूप से पर्वतीय क्षेत्रों में रहने वाली महिलाओं के लिए एक बड़ी राहत होगी, जहां परिवहन की सुविधाएं सीमित हैं। मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने एनीमिया महा अभियान के संदर्भ में आयोजित बैठक में इस सेवा के प्रचार-प्रसार के निर्देश दिए।
राज्य में गर्भवती महिलाओं में एनीमिया की दर 46.4 प्रतिशत है, जो राष्ट्रीय औसत से कम है, लेकिन फिर भी यह एक गंभीर समस्या बनी हुई है। मुख्य सचिव ने इस समस्या से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग को एनीमिया की पहचान और उपचार के लिए खास योजनाओं को लागू करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने यह भी बताया कि गर्भवती महिलाओं का एनीमिया परीक्षण पहले चरण में ही किया जाएगा, जिससे समय रहते उपचार सुनिश्चित किया जा सके। इसके साथ ही, राज्य सरकार ने विद्यालयों में छात्राओं के हीमोग्लोबिन स्तर की जांच को अनिवार्य कर दिया है, ताकि एनीमिया जैसी समस्याओं का समाधान जल्दी किया जा सके।
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