SOMVATI AMAVASYA: धार्मिक परंपराओं में अमावस्या का दिन विशेष रूप से पूजनीय होता है, और इस बार 30 दिसंबर को पौष अमावस्या के साथ सोमवती अमावस्या का दुर्लभ संयोग बन रहा है। यह पावन दिन भगवान शिव और माता पार्वती की आराधना, पितरों के तर्पण और दान-पुण्य के लिए अद्वितीय माना गया है। मान्यता है...
SIYARAM BABA: नर्मदा तट पर स्थित भट्टयान बुजुर्ग में प्रसिद्ध संत सियाराम बाबा का बुधवार, मोक्षदा एकादशी के पावन दिन, सुबह 6:10 बजे निधन हो गया। उनका अंतिम संस्कार आज शाम 4 बजे आश्रम के पास नर्मदा नदी किनारे किया जाएगा। बता दें कि पिछले 10 दिनों से वे बीमार थे और आश्रम में ही...
KHARMAS 2024: इस साल खरमास 15 दिसंबर 2024 से शुरू होकर 14 जनवरी 2025 तक रहेगा। हिन्दू धर्म में खरमास एक महत्वपूर्ण समय होता है इस समय को विशेष रूप से शुभ कार्यों के लिए अनुकूल नहीं माना जाता। भारतीय ज्योतिष में कुल बारह राशियाँ मेष, वृष, मिथुन, कर्क, सिंह, कन्या, तुला, वृश्चिक, धनु, मकर,...
CHAMPA SHASHTI: मार्गशीर्ष मास की शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को हर साल चंपा षष्ठी का पर्व मनाया जाता है। इस साल यह शुभ दिन 7 दिसंबर 2024 को पड़ रहा है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन भगवान शिव के खंडोबा अवतार की पूजा की जाती है। कहा जाता है कि इस दिन व्रत...
MADMAHESHWAR MANDIR: उत्तराखंड के पंचकेदारों में द्वितीय केदार माने जाने वाले श्री मद्महेश्वर मंदिर के कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए। बुधवार सुबह शुभ मुहूर्त में विधि-विधान के साथ मंदिर के कपाट बंद किए गए। इस खास अवसर पर मंदिर को फूलों से भव्य रूप से सजाया गया था। कपाट बंद होने के...
BADRINATH: उत्तराखंड में इस वर्ष की चारधाम यात्रा का समापन हो गया है। 17 नवंबर को बदरीनाथ धाम के कपाट रात 9:07 बजे विधिवत पूजा-अर्चना के बाद शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए। इससे पहले केदारनाथ, यमुनोत्री और गंगोत्री धाम के कपाट भी बंद हो चुके थे। बद्रीनाथ धाम में कपाट बंद होने के...
KARTIK PURNIMA के मौके पर हरिद्वार की हर की पैड़ी पर श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा है। देशभर से बड़ी संख्या में श्रद्धालु मां गंगा में आस्था की डुबकी लगाने के लिए हरिद्वार पहुंच रहे हैं। सुबह 4 बजे से ही श्रद्धालु हर की पैड़ी पर स्नान करने के लिए पहुंचने लगे, और यह सिलसिला...
IGAS FESTIVAL: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सोमवार को दिल्ली में भाजपा सांसद अनिल बलूनी के आवास पर उत्तराखंड के लोकपर्व इगास बग्वाल मनाने पहुंचे। इगास, जिसे बूढ़ी दिवाली भी कहा जाता है, उत्तराखंड की एक विशिष्ट परंपरा है और दिवाली के 11वें दिन मनाया जाता है। उत्तराखंड की संस्कृति से जुड़ा यह पर्व राज्य के लोगों...
IGAS BAGWAL या बूढ़ी दीपावली उत्तराखंड की एक महत्वपूर्ण और अनूठी परंपरा है, जो दीपावली के 11वें दिन मनाई जाती है। यह पर्व खासकर उत्तराखंड के ग्रामीण क्षेत्र में मनाया जाता है, जबकि गढ़वाल में इसे अलग ढंग से मनाने की परंपरा है। इगास का पर्व न केवल धार्मिक आस्थाओं से जुड़ा है, बल्कि इसमें...
DEVUTHANI EKADASHI 2024: दीपावली के बाद देश में देवउठनी एकादशी पर्व अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। इसे प्रबोधिनी एकादशी और देवोत्थान एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, चार महीने के योगनिद्रा के बाद भगवान विष्णु इसी दिन जागते हैं, जिसके कारण इस तिथि को देवोत्थान और प्रबोधिनी एकादशी के...