भालू ने बुआ पर किया हमला, भतीजी ने दराती से किए ताबड़तोड़ वार, जानिए फिर क्या हुआ…

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पौड़ी गढ़वाल, ब्यूरो। बेटियां किसी से कम नहीं हैं। चाहे वह किसी भी क्षेत्र की बात हो, बेटियां कंधे से कंधा मिलाकर हर क्षेत्र में आगे बढ़ रही हैं। तीलू रौतेली से लेकर तमाम बेटियां और महिलाओं की कहानियां शायद आपने भी पढ़ी और सुनी होगी। कुछ ऐसा ही साहस दिखाया है। अपनी बुआ पर घात लगाकर बैठे भालू का हमला होने पर भतीजी ने साहस दिखाते हुए उस पर दराती से ताबड़तोड़ वार कर दिए। उसकी बुआ हीरा देवी के पास एक साल का नाती भी था। उसे भी दोनों ने बचाया और भालू से भिड़ गईं। हालांकि वह भी भालू के हमले में घायल हो गईं, लेकिन कोई भी हताहत नहीं हुआ है। भालू भी थोड़ी देर बाद मौके से नौ-दो ग्यारह हो गया। दोनों को बेस अस्पताल श्रीनगर में उपचार किया जा रहा है। तहसीलदार ने भी मामले की पुष्टि की है और रेंजर ने भालू के संघर्ष में घायल दोनों महिलाओं को जल्द उचित मुआवजा देने की बात कही है।

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दरअसल, उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल जनपद के तहसील थलीसैंण के दैड़ा गांव की हीरा देवी एक साल के पोते और 20 साल की भतीजी रेखा के साथ मायके से गांव दैड़ा लौट रहीं थी। रास्ते में घात लगाकर भालू ने हीरा देवी पर हमला कर दिया। उसकी भतीजी रेखा ने हिम्मत और साहस दिखाते हुए दराती से भालू पर ताबड़तोड़ वार किए। इससे भालू भाग गया। हालांकि भालू के हमले में हीरा देवी और रेखा दोनों घायल हो गए जबकि एक साल का पोता पूरी तरह सुरक्षित है। स्थानीय व्यक्तियों की मदद से दोनों घायलों को उपचार के लिए पहले प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बूंगीधार में भर्ती कराया गया। प्राथमिक उपचार के बाद दोनों घायलो को मेडिकल कालेज श्रीनगर के बेस अस्पताल रेफर कर दिया गया। अब यहीं दोनों का उपचार किया जा रहा है।

दूसरी ओर इस मामले में नायब तहसीलदार थलीसैंण आनंदपाल ने बताया कि दैड़ा गांव निवासी हीरा देवी और रेखा भालू के हमले में घायल हुए हैं। घटना में पोता पूरी तरह सुरक्षित है। वन क्षेत्राधिकारी थलीसैंण अनिल रावत ने बताया कि भालू के हमले में घायलों को जल्द ही उचित मुआवजा दिया जाएगा।