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उत्तराखंड कैबिनेट बैठक, इन सात फैसलों पर लगी मुहर
DevbhoomiNews Desk
Wednesday, 26 November, 2025 - 12:42 PM
UTTARAKHAND CABINET MEETING: सचिवालय में बुधवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में कैबिनेट की महत्वपूर्ण बैठक आयोजित हुई, जिसमें मंत्रिमंडल के प्रमुख सदस्यों ने भाग लिया। कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी और सौरभ बहुगुणा बैठक में मौजूद रहे, जबकि सतपाल महाराज और धन सिंह रावत वर्चुअल माध्यम से जुड़े। बैठक की शुरुआत राज्य निर्माण आंदोलन के प्रमुख नेता, वरिष्ठ आंदोलनकारी और पूर्व कैबिनेट मंत्री दिवाकर भट्ट के निधन पर दो मिनट का मौन रखकर हुई।
UTTARAKHAND CABINET MEETING
UTTARAKHAND CABINET MEETING: में कुल सात प्रस्तावों को स्वीकृति मिली
पर्यावरण संरक्षण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के वार्षिक लेखा-जोखा को आगामी विधानसभा सत्र में सदन पटल पर रखने की अनुमति प्रदान की गई।
अभियोजन संवर्ग के पुनर्गठन पर भी निर्णय लिया गया और सहायक अभियोजन अधिकारियों के छियालीस अतिरिक्त पदों के सृजन को मंजूरी दी गई, जिसके बाद विभागीय क्षमता बढ़ने और मामलों के त्वरित निस्तारण की उम्मीद जताई जा रही है।
ऊर्जा विभाग के वर्ष 2022–23 के वार्षिक वित्तीय प्रतिवेदन को भी सदन में रखने की मंजूरी दी गई।
UTTARAKHAND CABINET MEETING में महिलाओं की सुरक्षा और रोजगार से जुड़ा एक महत्वपूर्ण फैसला लिया गया, जिसके अनुसार अब राज्य की दुकानों और प्रतिष्ठानों में कार्यरत महिलाएँ रात नौ से सुबह छह बजे तक की शिफ्ट में भी काम कर सकेंगी। इस निर्णय के साथ राज्य सरकार ने यह स्पष्ट किया कि रात्रिकालीन कार्य के दौरान सुरक्षा से संबंधित प्रावधानों को अनिवार्य रूप से लागू किया जाएगा।
कैबिनेट ने उत्तराखण्ड दुकान एवं स्थापन (रोजगार विनियमन और सेवा शर्त) अधिनियम 2017 में संशोधन के उद्देश्य से प्रस्तावित 2025 के अध्यादेश को भी स्वीकृति प्रदान की, जिसमें धारा 1(2), धारा 8, धारा 9 और धारा 19 में संशोधन शामिल है।
इसके अतिरिक्त देहरादून शहर में प्रस्तावित मेट्रो नियो परियोजना के संदर्भ में भारत सरकार के आवासन एवं शहरी विकास मंत्रालय द्वारा दिए गए सुझावों को मंत्रिमंडल के संज्ञान में प्रस्तुत किया गया और इस विषय पर आगे मार्गदर्शन प्राप्त करने की प्रक्रिया शुरू की गई।
अंत में, मानव-वन्यजीव संघर्ष राहत वितरण निधि नियमावली-2025 में संशोधन को भी अनुमति दी गई, जिसके बाद प्रभावित परिवारों को मुआवजा प्रक्रिया और अधिक सुगम व प्रभावी बनाए जाने की उम्मीद है।