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UKSSSC Paper Leak : 1 बार और बदली पुलिस की स्क्रिप्ट! पहले Hakam फिर चौहान अब Moosa मास्टरमाइन्ड?

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मूसा और योगेश्वर विदेश फरार, यहां खाक छान रही एसटीएफ!

Uttarakhand News- Dehradun Bureau : लंबे समय से उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग पेपर लीक (UKSSSC Paper Leak) मामले में एसटीएफ की स्क्रिप्ट बदलती जा रही है। पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (STF) ने जब उत्तराखंड के भाजपा नेता और जिला पंचायत सदस्य हाकम सिंह रावत को अरेस्ट किया था, तब उसे पेपर लीक (UKSSSC Paper Leak) का मुख्य सरगना और मास्टरमाइन्ड बताया था। इसके बाद जब हाकम ने राज खोले तो परत दर परत UKSSSC Paper Leak का मुख्य सरगना प्रिंटिंग प्रेस और आरएमएस टैक्नो सोल्यूशंस के डायरेक्टर राजेश कुमार चौहान को पुलिस मान रही थी।

sadik moosa

वहीं, अब जब राजेश कुमार ने राज खोले तो अब एसटीएफ UKSSSC Paper Leak का मुख्य सरगना सादिक मूसा (Sadik Moosa) को मान रही है। इसके साथ ही उसका साथी योगेश्वर राव भी पेपर लीक में बड़े बाजीगर के तौर पर सामने आया है। लेकिन, पिछले 22 जुलाई से एसटीएफ भी कई बार ऐसे खुलासे कर रही है जिस पर पढ़े-लिखे लोगों को कम ही विश्वास होता है। पहले प्रिंटिंग प्रेस लखनऊ के छोटे-छोटे कर्मचारियों को बलि का बकरा बनाकर कई दिनों तक जांच की जलेबी बनाई गई।

यह भी कहा कि गया कि प्रेस से कैमरे के फुटेज गायब हैं। इसके बाद जब जानकारों ने इस पर सवाल उठाए तो पुलिस की स्क्रिप्ट में झोल नजर आया। अगर पुलिस वाकई में कड़ी से कड़ी जोड़ती तो करीब डेढ़ माह से चल रही इस जांच के मुख्य सरगना को पहले अरेस्ट कर सकती थी।

इतने दिनों से UKSSSC Paper Leak केस में हो रहे हो-हल्ले और गिरफ्तारियों की बजाय पहले ही प्रिंटिंग प्रेस मालिक को अरेस्ट किया गया होता तो शायद सैयद सादिक मूसा और योगेश्वर राव पहले ही सलाखों के पीछे होते। इस 916 पदों की परीक्षा के साथ ही 2015 से हो रही उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के साथ ही कई और प्रदेशों की परीक्षाओं में नकल करवाने का भी खुलासा अभी तक हो जाता।

UKSSSC Paper Leak: मूसा-योगेश्वर तक पहुंच पाएगी STF?

उत्तराखंड एसटीएफ हालांकि अपनी पूरी तैयारी के साथ नकल सरगना सादिक मूसा और योगेश्वर राव की तलाश में जुटी है। सादिक के एक गुर्गे को भी आज गोमतीनगर लखनऊ से दबोचा गया है, लेकिन क्या एसटीएफ के लंबे हाथ सादिक मूसा और योगेश्वर राव तक भी पहुंच पाएंगे, फिलहाल इसकी कम ही संभावना जताई जा रही है। सूत्रों के अनुसार सादिक मूसा और योगेश्वर राव दोनों इंडिया से बाहर भाग चुके हैं।

सूत्र बता रहे हैं कि UKSSSC Paper Leak के सरगना किसी पड़ोसी देश में शरण ले चुके हैं। भारत के कई देश ऐसे भी हैं, जहां पर कम खर्च में ही वह लंबे समय तक अंडरग्राउंड होकर रह सकते हैं। अब देखना होगा कि एसटीएफ कब तक सादिक मूसा और योगेश्वर राव को सलाखों के पीछे डालती है।

दरअसल, उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग पेपर लीक मामले में एसटीएफ ने आखिर हाकम सिंह और प्रिंटिंग प्रेस मालिक राजेश कुमार चौहान से हटकर बीते रोज अपनी स्क्रिप्ट बदलते हुए यूपी के दो बड़े नकल माफियाओं के तार उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग पेपर लीक मामले में जोड़ते हुए उन पर गैंगस्टर एक्ट लगाया है। एसटीएफ ने रायपुर थाने में कल देर रात इस संबंध में गैंगस्टर एक्ट में मुकदमा दर्ज किया है।

पुलिस अब पेपर लीक गिरोह के सरगना सादिक मूसा, उसके साथी योगेश्वर राव के साथ ही इस मामले में पहले से अरेस्ट हाकम सिंह रावत, बलवंत रौतेला, शशिकांत, केंद्र पाल सिंह, आरएमएस टेक्नोसोल्यूशंस डायरेक्टर और प्रिंटिंग प्रेस मालिक राजेश कुमार चैहान, जय जीत दास, दीपक शर्मा, महेंद्र सिंह चैहान, हिमांशु कांडपाल, तनुज शर्मा, अंकित रमोला, चंदन सिंह मनराल, जगदीश गोस्वामी, कुलबीर सिंह, दिनेश चंद्र जोशी, मनोज जोशी अल्मोड़ा, अभिषेक वर्मा और मनोज जोशी चंपावत के खिलाफ देहरादून के रायपुर थाने में गैंगस्टर एक्ट में मुकदमा दर्ज कर चुकी है।

मुख्य सरगना सादिक मूसा और योगेश्वर राव की तलाश शुरू

एसटीएफ ने पेपर लीक मामले में मुख्य सरगना के तौर पर सामने आए सादिक मूसा और योगेश्वर राव की तलाश शुरू कर दी है। आज रविवार को एसटीएफ ने सादिक मूसा का एक दुर्गा गोमती नगर लखनऊ से गिरफ्तार भी किया है। दूसरी ओर मामले की तफ्तीश कर रही एसटीएफ 22 जुलाई से अभी तक 34 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।

वहीं, यह समझ से परे है कि अभी तक क्यों नहीं गिरोह के मुख्य सरगना सादिक मूसा और उसके साथी योगेश्वर राव को ट्रेस किया गया। इस मामले में सीएम पुष्कर सिंह धामी और डीजीपी के सख्त निर्देश के बाद पूर्व में गिरफ्तार 19 आरोपियों और दो फरार मुख्य सरगनाओं सादिक मूसा और योगेश्वर राव की संपत्ति खंगालने में भी पुलिस जुट गई है देखना होगा कि इस मामले की जांच कब तक अंजाम तक पहुंच पाती है।

वहीं, प्रिंटिंग प्रेस मालिक अरेस्ट होने के बाद राज खुले तो सादिक मूसा और योगेश्वर राव के नामों की चर्चाओं का बाजार गर्म था। लेकिन, मूसा को न तो हाकम ने देखा था न ही केंद्रपाल ने। सूत्रों के अनुसार इन दोनों ने मूसा का सिर्फ नाम सुना है। बताया जा रहा है कि मूसा प्रिंटिंग प्रेस मालिक और आरएमएस टेक्नोसोल्यूशंस मालिक राजेश कुमार चैहान का पहले से करीबी रहा है और इससे पहले भी उसने यूकेएसएसएससी समेत समेत कई और प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक करवाए हैं।

85 परीक्षाओं में से कौन कौन सी लीक हुई?

मूसा की प्रिंटिंग प्रेस मालिक राजीव कुमार चौहान से 2014 में मुलाकात हुई थी। 2014-15 से उत्तराखंड में अधीनस्थ सेवा चयन आयेाग की करीब 85 भर्ती परीक्षाएं आयोजित हो चुकी हैं। ऐसे में सादिक और योगेश्वर ने किन-किन परीक्षाओं में क्या-क्या खेल खेले, यह अब इनके अरेस्ट होने के बाद ही सामने आ पाएगा।

सादिक मूसा का दोस्त और करीबी योगेश्वर राव भी पहले एक शिक्षक था। उसके बाद उसकी मूसा से दोस्ती हुई और उसने अपनी नौकरी छोड़ दी और पत्नी को पिछले दरवाजे से पेपर लीक करवाकर टीचर बनवा दिया सूत्रों की माने तो योगेश्वर राव और सादिक मूसा कभी भी नाॅर्मल कॉल पर बात नहीं करता था।

सिर्फ ऑनलाइन व्हाट्सएप कॉल और इंटरनेट डोंगल के माध्यम से ही वह किसी भी व्यक्ति से संपर्क करते थे सूत्रों के अनुसार मूसा भारत से फरार हो चुका है फिर भी एसटीएफ उसकी गिरफ्तारी के लिए जगह-जगह दबिश दे रही है। अब देखना होगा कि एसटीएफ की कहानी कहां तक अपने अंजाम तक पहुंच पाती है।

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