Samaniya Bhat: क्यों कश्मीर की लड़कियां नहीं कर सकती ये काम।

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देहरादून ब्यूरो। कश्मीर नाम जहां आता है वहां जन्नत का एहसास खुद ब खुद होने लगता है। मगर कैसी होती है कश्मीरियों की जिंदगी और खास करके वहां की औरतों की जिंदगी। कितनी संकीर्ण है वहां के लोगों की सोच जो अपने ही घर की बच्चियों के हुनर दबाना पसंद करते हैं बजाए उसे बाहर जाकर पढ़ने और काम करने के। कश्मीर के कई इलाकों को पहले मिनी पाकिस्तान के नाम से जाना जाता था और कुछ को अभी भी जाना जाता है। सोचिए ज़रा यहां की औरतों कि जिंदगी कैसी होगी, कैसे यहां की बच्चियां अपनी ज़िंदगी में कुछ अलग करें और जो कोई लड़की ऐसा कदम उठा भी ले तो वो और उसका परिवार कैसे यहां के अन्य लोगों की प्रताड़ना का शिकार होता है आज ये आपको बताते हैं।

ये कहानी है उस बच्ची की जिसकी आखों में एक सपना था कुछ अलग करने का। इस सकीर्ण सोच से बाहर निकलकर एक मुकाम हांसिल करने का। एक नया कश्मीर बनाने का। इनका नाम है Samaniya Bhat  जो इस सकीर्ण सोच को हराने के बाद बनी RJ Samaniya Bhat. RJ Samaniya Bhat बनने तक का ये सफर इतना आसान न था। यहां तक पहुंचने के लिए 21 साल की Samaniya Bhat को लोगों द्वारा कई अभद्र टिप्पणियों का सामना करना पड़ा।

RJ Samaniya Bhat North Kashmir के Baramullah के उस इलाके से तालुक रखतीं हैं जहां पर आए दिन आतंकवादी गतिविधियां होती रहती हैं। आतंकवादियों और सेना के बीच आए दिन मुठभेड़ होती रहती है जिसके कारण वहां के बच्चों की पढ़ाई और भविष्य अंधकार की ओर बढ़ता जाता है। Baramullah के Old Town में रहने वाली RJ Samaniya Bhat पत्रकारिता में अपना सिक्का अज़माना चाहतीं थी ये जानते हुए भी कि अगर उन्होंने ऐसा कुछ करने का भी सोचा तो उन्हें लोगों द्वारा बुरी तरह से प्रताड़ित किया जाएगा यहां तक की उनके घर वालों को भी चैन से नही जीने दिया जाएगा। लेकिन फिर भी Samaniya Bhat ने ये कदम उठाने के बारे में सोचा जिसमें उनके घर वालों ने भी उनका साथ दिया। जिसके बाद Samaniya Bhat ने बारामूला के गवर्नमेंट डिग्री कॉलेज से मास कम्युनिकेशन में ग्रेजुएशन पूरा किया और इसी दौरान उनके पिता की भी तबीयत खराब हो गई। Samaniya Bhat के परिवार में उनके माता पिता और वो तीन बहने थीं। घर की आर्थिक जिम्मेदारी उनके पिता के सर पर ही थी और अब उनकी तबीयत खराब होने के कारण घर की जिम्मेदारी Samaniya Bhat और उनकी बड़ी बहन के कंधों पर आ गई। जिसके बाद उन्होंने कुछ लोकल न्यूज़पेपर्स के साथ काम करना शुरू किया। जैसे ही Samaniya Bhat ने ये काम शुरू किया वैसे ही शुरु हो गए उन्हें और उनके घरवालों को Indirect Threat Calls आना। इन कॉल्स पर Samaniya Bhat के मां बाप को बोला जाता था कि आपकी बेटी जो काम कर रही है उसमे उसकी जान को खतरा है आपकी दो और बेटियां हैं उनकी जान को खतरा है कौन करेगा इनसे शादी वगैरा वगैरा। आखिरकार क्या गलत कर रही थी Samaniya Bhat जो उन्हें और उनके मां बाप को इस तरह के कॉल्स आया करते थे। एक Talk Show में Samaniya Bhat बताती हैं कि उन्हें अब भी याद है कि जब 2016 में burhan wani के समय पर unrest हुआ तो उस दौरान उनके Board Exams चल रहे थे और इसी समय पर कुछ लोग उनके घर की खिड़की के बाहर आकर Anti Indian Slogan के नारे लगा रहे थे। Samaniya Bhat उस समय पढ़ रहीं थी और जब ऐसा काफी देर तक होता रहा तो उन्होंने पानी की बाल्टी उठाई और खिड़की खोलकर उन लोगों पर पानी फेंक दिया और कहा कि please कही और जाइए यहां खड़े होकर हल्ला मत कीजिए मै पढ़ रही हूं मुझे पढ़ने दीजिए। ये सुनते ही नारे लगा रहे लोग Samaniya Bhat पर हंसने लगे और कहने लगे कि तुम पागल हो क्यों पढ़ रही हो बाहर Unrest चल रहा है और तुम्हें एग्जैंम्स की पड़ी है। Samaniya Bhat को खुद भी नही मालूम था कि उनके एग्ज़ाम्स होगें भी या नही लेकिन फिर भी वो पढ़ रही थीं क्योंकी वो अपनी जिंदगी में आगे कुछ करना चाहतीं थी। वो इस नफरत भरी दुनिया से बाहर निकलना चाहतीं थी। वो खुद को भारत की बेटी मानती हैं कश्मीर की बेटी मानती हैं और अपने ही देश के बारे में कुछ भी गलत सुनना उनके लिए असहनीय था। बस उसी दिन से Samaniya Bhat ने नया कश्मीर बनाने का ठान लिया और इसकी शुरुआत उन्होंने खुद से ही करने की सोची इस समाज से कुछ अलग करने की ठानी। कई अखबारों में Freelance काम करने के बाद Samaniya Bhat ने Radio Chinar के बारे में सुना जो की उत्तरी कश्मीर के सोपोर में स्थित था। Samaniya Bhat ने Radio Chinar में try करने का सोचा जहां उनका मुकाबला था करीबन 450 candidates से। Fortunetely Samaniya Bhat की महनत रंग लाई और उनके जुनून से उनका चयन Radio Chinar में हो गया। जिसके बाद Samaniya Bhat बनी 20 साल की उम्र में कश्मीर की Youngest RJ और North Kashmir की पहली महिला RJ.

और इसके बाद शुरू हुआ Samaniya Bhat की life में असली struggle. इसके बाद उन पर कई अभद्र टिप्पणियां की गई। उन्हें बोला गया कि जिस रेडियो में वो काम रही हैं वो Indian Army द्वारा influenced है। साथ ही उन्हें कहा गया कि तुम आज जहां जॉब कर रही हो और जिस मुकाम पर हो वो अपने टैलेंट की वजह से नही बल्की तुम्हारे कुछ Army Officials के साथ संबध हैं। RJ Samaniya Bhat के मां बाप को सुनाया गया कि तुम्हें शर्म नही आ रही है तुम अपनी बेटी को आर्मी कैंप्स भेज रहे हो। वो करने क्या जाती है इन कैंप्स में वगैरा वगैरा। वहीं आस पास के लोग इनके बारे में कहते थे कि ये कोई मुस्लिम नही है बल्की Indian army की agent है। इसके साथ ही RJ Samaniya Bhat बताती हैं कि वहां के लोग इनके लिए एक शब्द का इस्माल करते थे। बेहयाई। लोग कहते थे कि RJ Samaniya Bhat यहां बेहयाई फैलाने का काम कर रही है।

करीबन एक साल हो जाने के बाद अब भी RJ Samaniya Bhat को कई लोग शांती से काम नही करने दे रहे हैं। लेकिन उनके इस कदम ने कश्मीर में एक छोटा सा बदलाव जरूर किया है। ये बदलाव है कि अब यहां की बेटियां जो अपने सपनों को यहां के लोगों की वजह से अपने अंदर ही दबा देती थी वो अब RJ Samaniya Bhat को देखकर अपने सपनों की उड़ान भरना चाहती हैं। Talk show में समानिया बताती हैं कि उन्हें अब भी कई कॉल्स आते हैं मगर ये कॉल्स उन्हें Criticize करने के लिए नही आते बल्की कई लड़कियों द्वारा उनसे पूछा जाता है कि आपने कैसे किया हम कैसे ये काम कर सकते हैं। इसका मतलब है कि जिस नए कश्मीर का RJ Samaniya Bhat ने सपना देखा था वो धीरे धीरे अपने पंख फैलाता जा रहा है।