कई दुकानों में भी घुसा पानी, यात्रियों के अलावा स्थानीय लोगों की बढ़ी मुश्किलें
मानसून की पहली ही बारिश से स्थिति होने लगी भयावह
रुद्रप्रयाग (नरेश भट्ट): उत्तराखण्ड में मानसून पूरी तरह दस्तक दे चुका है और मानसून की पहली ही बारिश में स्थिति भयावह होने लग गई है। केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ाव गौरीकुंड में आज सुबह बारिश के कारण अफरा-तफरी का माहौल बन गया। बरसात के पानी जगह-जगह केदारनाथ पैदल यात्रा मार्ग पर भर गया और पानी दुकानों में भी घुस गया। किसी तरह से यहां यात्रियों और स्थानीय जनता ने यहां आवाजाही की।
https://youtu.be/vUwTYKBQOgk
KEDARNATH YATRA का मुख्य पड़ाव गौरीकुंड मानसून की पहली बारिश से ही पानी-पानी
उत्तराखण्ड में जब भी मानसून सीजन आता है तो आफत बनकर बरसता है। मानसूनी बारिश का सबसे बुरा असर विश्व विख्यात केदारनाथ धाम की यात्रा पर पड़ता है। मानसून सीजन में जहां केदारनाथ आने वाले यात्रियों की संख्या बेहद कमी आ जाती है। वहीं पैदल यात्रा मार्ग और केदारनाथ हाईवे पर भूस्खलन का खतरा बढ़ जाता है। आज सुबह हुई बारिश से केदारनाथ यात्रा के सबसे मुख्य पड़ाव गौरीकुंड में अफरा-तफरी मच गई। गौरीकुंड से ही केदारनाथ धाम की यात्रा शुरू होती है, लेकिन बारिश का पानी गौरीकुंड में केदारनाथ धाम जाने वाले पैदल मार्ग और मार्ग किनारे की दुकानों में घुस गया। इतना ही नहीं गौरीकुंड मुख्य बाजार के रास्ते पर बारिश के पानी से तालाब बन गया। जहां से आवाजाही करने में यात्रियों और स्थानीय जनता को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
तस्वीरों में भी साफ देखा जा सकता है कि बरसाती पानी पैदल यात्रा मार्ग पर बह रहा है और यात्रियों को चलने में भारी दिक्कतें हो रही हैं। इतना ही नहीं बारिश के कारण जगह-जगह सड़क और पैदल मार्ग पर गंदगी फैल गई है। यात्री और स्थानीय लोग किसी तरह इस गंदगी से खुद को बचाकर आवाजाही कर रहे हैं। मानसून की पहली ही बारिश ने प्रशासन के दावों की पोल खोलकर रख दी है। पहली ही बारिश से स्थिति बयावह होने लगी है। स्थिति का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि जब केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ाव में बारिश के बाद ये हाल हैं तो जिले के अन्य जगहों पर क्या स्थिति हो सकती है।
रुद्रप्रयाग के पुलिस अधीक्षक आयुष अग्रवाल का कहना है कि मानसून से निपटने के लिये तैयारियां की गई हैं। यात्रा पड़ावों में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस, डीडीआरएफ सहित पीआरडी के जवान तैनात हैं। साथ ही बद्रीनाथ और केदारनाथ हाईवे के भूस्खलन वाले क्षेत्रों में मशीने तैनात की गई हैं। उन्होंने कहा कि सभी टीमों को अलर्ट मोड़ पर रखा गया है।