इस Bank में चाय-पानी पिलाने वाला चतुर्थ श्रीणी कर्मचारी ग्राहकों के लाखों रुपये लेकर फरार

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हरिद्वार, ब्यूरो। हरिद्वार के ज्वालापुर इलाके में एक बैंक शाखा में तैनात चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी ग्राहकों के लाखों रुपये लेकर फरार हो गया गया है। देहरादून जनपद के चकराता विकासखंड निवासी यह दैनिक वेतनभोगी कर्मचारी का अब कोई सुराग नहीं लग पाया है। हालांकि बैंक मैनेजर की शिकायत पर आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। पुलिस आरोपी की तलाश में जुट गई है। जानकारी के अनुसार इस कर्मचारी को कुछ ग्राहकों पैसा जमा करने के लिए दिया था, उसने इन ग्राहकों को रसीद तो दे दी, लेकिन पैसा खाते में जमा नहीं किया। ऐसे कुछ ग्राहण जब शिकायत लेकर बैंक मैनेजर के पास पहुंचे तो उन्होंने मामले की जांच शुरू की। बाद में पता चला कि कर्मचारी दादी का देहांत की बात कहकर घर गया था, लेकिन वापस नहीं लौटा। अब उससे संपर्क भी नहीं हो पा रहा है।

दरअसल, यह मामला हरिद्वार शहर के ज्वालापुर की सराय गांव स्थित इंडियन बैंक ऑफ इंडिया शाखा का है। इस शाखा में चाय, पानी आदि पिलाने वाला एक दैनिक कर्मचारी कई खाताधारकों के लाखों रुपए लेकर फरार हो गया है। पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार खाताधारकों ने रकम अपने अपने बैंक खाते में जमा कराने के लिए दी थी। कर्मचारी ने उन्हें रसीद भी दी पर रकम जमा नहीं की। अब बैंक मैनेजर ने चमकराता देहरादून निवासी इस दैनिक कर्मचारी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाया है। मुकदमा दर्ज होने के बाद हरिद्वार पुलिस आरोपी की तलाश में जुट गई है।

बता दें कि ज्वालापुर में बैंक ऑफ इंडिया की सराय शाखा है। शाखा मैनेजर अरविंद चौहान ने पुलिस को तहरीर देते हुए बताया कि उनकी शाखा में अर्जुन सिंह निवासी जगधान लोहारी चकराता देहरादून दैनिक मजदूरी पर काम करता है। बैंक में उसका सिर्फ चाय-पानी आदि पिलाने और बैंक शाखा की साफ सफाई का काम था। उन्होंने बताया कि 2 महीने पहले ही वह मैनेजर के तौर पर इस शाखा में तैनात हुए हैं। कुछ दिन पहले अर्जुन ने बैंक मैनेजर को दादी का देहांत होने की जानकारी दी और छुट्टी लेकर घर चला गया। दो-तीन दिन बाद कुछ कस्टमर अर्जुन को पूछने बैंक में पहुंचे। 14 मार्च को मेहुरुन्निशा नामक ग्राहक शिकायती पत्र देकर पहुंची। बताया कि उसने अर्जुन को ₹33500 जमा करने के लिए दिए थे। अर्जुन ने इसकी जमा रसीद भी दी थी, लेकिन पैसा खाते में जमा नहीं हुआ। इसी तरह सराय निवासी जमसीदा ने बताया कि उसने अर्जुन को ₹50000 जमा करने के लिए दिए थे। रसीद मिलने के बावजूद पैसे खाते में जमा नहीं हुए। धोखाधड़ी का पता चलने पर बैंक ने अर्जुन से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन उसका कोई पता नहीं चल पाया है। बैंक मैनेजर अरविंद चौहान ने पुलिस को तहरीर देकर कार्रवाई की मांग की है। इस संबंध में ज्वालापुर कोतवाल आरके सकलानी के अनुसार आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है। जल्द ही आरोपी को सलाखों के पीछे डाला जाएगा।